पलामू। वरदान चैरिटेबल ट्रस्ट की सचिव एवं समाजसेविका शर्मिला वर्मा ने सरकार से गुहार लगाई है कि मईयां सम्मान योजना की तर्ज पर बुजुर्गों के पेंशन की राशि भी 2500 या उससे अधिक अविलंब कर देना चाहिए। उन्होंने कहा कि समाज के विभिन्न क्षेत्रों में घूमकर मैं काम करती हूं और मैंने हमेशा यह महसूस किया है कि ज्यादातर बुजुर्ग अपने घरों में उपेक्षित हैं।युवतियों से ज्यादा बुजुर्गों को अपनी दवा ,महंगे टेस्ट और अपनी देखभाल के लिए पैसों की जरूरत है।एक एक पैसे के लिए वो अपने बेटों,बहूओं पर आश्रित होते हैं और कई बार अपमान एवं तिरस्कार भी झेलते हैं। उम्र के आखिरी पड़ाव पर वो काम करने लायक भी नहीं रहते !इसलिए सरकार को चाहिए कि अविलंब वृद्धावस्था पेंशन की राशि 1000 से बढ़ाकर 2500 या 3000 करे। इससे कई बुजुर्ग अपनी जिंदगी भरपूर रूप से और सम्मान के साथ जी पाएंगें।
पलामू। वरदान चैरिटेबल ट्रस्ट की सचिव एवं समाजसेविका शर्मिला वर्मा ने सरकार से गुहार लगाई है कि मईयां सम्मान योजना की तर्ज पर बुजुर्गों के पेंशन की राशि भी 2500 या उससे अधिक अविलंब कर देना चाहिए। उन्होंने कहा कि समाज के विभिन्न क्षेत्रों में घूमकर मैं काम करती हूं और मैंने हमेशा यह महसूस किया है कि ज्यादातर बुजुर्ग अपने घरों में उपेक्षित हैं।युवतियों से ज्यादा बुजुर्गों को अपनी दवा ,महंगे टेस्ट और अपनी देखभाल के लिए पैसों की जरूरत है।एक एक पैसे के लिए वो अपने बेटों,बहूओं पर आश्रित होते हैं और कई बार अपमान एवं तिरस्कार भी झेलते हैं। उम्र के आखिरी पड़ाव पर वो काम करने लायक भी नहीं रहते !इसलिए सरकार को चाहिए कि अविलंब वृद्धावस्था पेंशन की राशि 1000 से बढ़ाकर 2500 या 3000 करे। इससे कई बुजुर्ग अपनी जिंदगी भरपूर रूप से और सम्मान के साथ जी पाएंगें।